Tu Hi Datta


कोरस - तू ही दाता विश्वविधाता, तेरी दुनियाँ सारी। 

कैसा यह इन्सान बनाया, शान तेरी है न्यारी।


1. ऊँचे पर्वत गहरे सागर, सूरज चांद सितारे, 

बादल आवें मेंह बरसाएं, कुदरत की बलिहारी। (2)


2. हम्द ओ सना हम मिल गायें, तेरा शुक्र करें 

बुलबुल गाए झूमे डाली, नाचे धरती सारी। (2)


3. हाथों को जोड़ें दिल को खोलें, आए हैं शरण तेरी, 

पापों को प्यारे प्रभु क्षमा कर, जान मेरी यह पुकारी। (2)