Ai Khuda Kamaal Ke Chasme


1. ऐ खुदा, कमाल के चश्मे, 

मुझसे अपनी हम्द करवा, 

तेरी रहमत है ला-सानी, कायम, 

दायम बेश-बहा, 

तेरा प्यार जो बे-निहायत ला-ज़वाल बे इन्तिहां, 

उसकी मुझसे ऐ, खुदावन्द, 

अब तारीफ का गीत गवा


2. अब नज़र तू ऐ मसीहा, 

हुआ मेरा मददगार, 

तेरे फज़ल से मैं पहुंचूं 

गम के दरिया से उस पार

था मैं भूली भेड़ की मानिन्द 

गल्ला छोड़ आराम विदून 

यीशु खोजने और बचाने 

आया, दिया अपना खून


3. उम्र भर मैं गाता रहूँ 

तेरे फज़ल की सिपास, 

अपने करम से खुदावन्द, 

रख तू मुझे अपने पास 

तुझे भूलने को तो सदा 

इम्तिहां बहुतेरा है, 

मुहर कर तू मेरे दिल पर 

अबद तक तू मेरा है।